सौर ऊर्जा ने लाई उज्जवल और आत्मनिर्भर जीवन: घरेलू बिजली की स्वतंत्रता, आर्थिक बचत और पर्यावरण संरक्षण की नई दिशा

 




कोरबा, 26 सितंबर 2025 /
प्रधानमंत्री सूर्यघर मुफ्त बिजली योजना आज देश के आम नागरिकों के लिए स्वच्छ ऊर्जा और आत्मनिर्भरता की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल बन चुकी है। इस योजना के अंतर्गत आम नागरिकों को उनके घरों की छतों पर सोलर पैनल लगाने की सुविधा प्रदान की जाती है, जिससे वे अपनी बिजली की जरूरतें स्वयं पूरी कर सकते हैं और आर्थिक रूप से भी सशक्त बनते हैं। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की दूरदर्शी सोच और मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में क्रियान्वित यह योजना न केवल स्वच्छ ऊर्जा को बढ़ावा देती है, बल्कि पर्यावरण संरक्षण की दिशा में भी एक सशक्त कदम है।
योजना का उद्देश्य आम नागरिकों को हरित ऊर्जा अपनाने के लिए प्रोत्साहित करना, घरेलू खर्च में संतुलन लाना और आत्मनिर्भरता की दिशा में कदम बढ़ाना है। इस योजना के तहत रियायती दरों पर सोलर पैनल उपलब्ध कराए जाते हैं और केंद्र सरकार द्वारा 78 हजार रुपये की सब्सिडी और राज्य सरकार से रूपये 30 हजार की राशि लाभार्थियों को प्रदान की जाती है। इससे न केवल आर्थिक राहत मिलती है, बल्कि परिवारों को उनकी ऊर्जा जरूरतों के लिए स्वतंत्रता भी मिलती है। प्रधानमंत्री सूर्यघर योजना का लाभ लेने के लिए नागरिक सरल प्रक्रिया के माध्यम से आवेदन कर सकते हैं। योजना की वेबसाइट और स्थानीय प्रशासन कार्यालय इसके लिए मार्गदर्शन प्रदान करते हैं। योजना का लक्ष्य केवल बिजली उत्पादन नहीं है, बल्कि पर्यावरण संरक्षण और हरित ऊर्जा के प्रति नागरिकों में जागरूकता पैदा करना भी है। इससे सौर ऊर्जा के उपयोग को बढ़ावा मिलता है और प्राकृतिक संसाधनों का संरक्षण सुनिश्चित होता है।

पड़ोसी परिवारों की कहानी:

कटघोरा के दो पड़ोसी परिवार, श्रीमती ज्योति अनंत और श्री गोरे सिंह राजपूत, इस योजना से लाभान्वित हुए हैं।

श्रीमती ज्योति ने अपनी घर की छत पर सोलर पैनल लगवाकर अपनी ऊर्जा जरूरतों को पूरा किया। उन्होंने बताया कि अब उनके घर के सभी उपकरण निर्बाध रूप से चल रहे हैं और घर की ऊर्जा का उत्पादन पूरी तरह आत्मनिर्भर है। “पहले गर्मी का मौसम चुनौतीपूर्ण लगता था, अब वही मौसम राहत और मुनाफा लेकर आता है। हम अपनी जरूरत की बिजली स्वयं बना रहे हैं और अतिरिक्त बिजली ग्रिड में भेजकर आर्थिक लाभ भी अर्जित कर रहे हैं।
 उन्होंने योजना की सबसे बड़ी खासियत यह बताई कि यह पर्यावरण के लिए सुरक्षित और हरित ऊर्जा के लिए लाभकारी है। उनकी छत केवल बिजली उत्पादन का केंद्र ही नहीं, बल्कि पर्यावरण संरक्षण और हरित छत्तीसगढ़ में योगदान का प्रतीक बन गई है। उन्होंने अन्य लोगों को भी इस योजना से जुड़ने की सलाह दी और प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री को धन्यवाद दिया।



उनके पड़ोसी श्री गोरे सिंह राजपूत ने भी योजना का लाभ उठाया। उन्होंने बताया कि योजना के माध्यम से उनके घर की छत पर 3 किलोवाट का सोलर पैनल इंस्टॉल हुआ, जिसकी कुल लागत 1.95 लाख रुपये थी और केंद्र सरकार की 78 हजार रुपये की सब्सिडी मिली। उन्होंने बताया कि अब उनका मासिक बिजली बिल लगभग शून्य हो गया है और घर की विद्युत आपूर्ति पूरी तरह आत्मनिर्भर है। श्री राजपूत ने कहा, “सौर ऊर्जा अपनाकर हम न केवल अपने खर्च में संतुलन ला रहे हैं, बल्कि पर्यावरण की रक्षा में भी योगदान दे रहे हैं। इस योजना से हमारा जीवन आसान और आर्थिक रूप से सशक्त हुआ है। यह अनुभव अन्य स्थानीय निवासियों के लिए भी प्रेरणा बन रहा है।”
 प्रधानमंत्री सूर्यघर योजना से लाभार्थियों को आर्थिक राहत, आत्मनिर्भरता और पर्यावरण संरक्षण का समन्वित लाभ मिलता है। इस योजना के माध्यम से समुदाय में स्वच्छ ऊर्जा के उपयोग के प्रति जागरूकता बढ़ रही है और अधिक से अधिक लोग अपने घरों को सौर ऊर्जा से सशक्त बना रहे हैं।
 प्रधानमंत्री श्री मोदी और मुख्यमंत्री श्री साय ने इस योजना के माध्यम से नागरिकों को स्वच्छ और सस्ती ऊर्जा उपलब्ध कराई है। इस पहल से परिवारों में आत्मनिर्भरता, आर्थिक स्थिरता और पर्यावरण संरक्षण को बढ़ावा मिला है। श्रीमती ज्योति और श्री गोरे सिंह राजपूत ने योजना के लिए अपना हृदय से धन्यवाद व्यक्त किया और भविष्य में इस तरह की योजनाओं के निरंतर लाभ की उम्मीद जताई।